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पिता के सपने को पूरा करने बेटे ने लिया संकल्प ओर मिल गई सफलता..
<p><strong>सिविल जज बनेगा कविश</strong></p><p><strong>बदनावर/ </strong>बहुत सालों पहले एक फिल्म आई थी जिसका एक गीत बड़ा लोकप्रिय हुआ था.. "<strong>पापा कहते हैं बड़ा नाम करेगा.." </strong><br>वास्तव में कोई बेटा यदि अपने पापा के सपने पूरे करता है तो उस पिता के लिए संसार का यह सबसे बड़ा सुख होता है जो उन्हें अपनी संतान के कारण प्राप्त होता है.. सौभाग्यशाली होते हैं वे पिता जिनकी संतान उनके सपने पूरे करती है। <br>मेरे एक बहुत ही करीबी मित्र हैं योगेश ठाकुर जो लगभग 20 साल मंदसौर न्यायालय में पदस्थ रहे और वर्तमान में बदनावर न्यायालय में उनकी पदस्थापना है।<br>उनके बेटे कविश को हमने उसके बचपन से देखा है मंदसौर के शुक्ला कालोनी के घर पर कई बार जाना हुआ... कविश बचपन से ही धीर गंभीर ओर आज्ञाकारी रहा.. कहते हैं पूत के पांव पालने में ही नजर आ जाते हैं। इस बच्चे को बचपन से ही पढ़ाई के प्रति बहुत रुचि और लगन रही और उसने छोटी कक्षा से ही अच्छे अंक लाने शुरू कर दिए। जैसे-जैसे वह आगे पढ़ता गया पढ़ाई में उसकी ग्रोथ बढ़ती गई। <br>बचपन में अपने पापा को वह न्यायालयीन कार्य करते देखता था तो उसे बड़ी जिज्ञासा होती थी। धीरे-धीरे परिवार के वातावरण और पापा से प्रेरित होकर उसने मन में एक संकल्प लिया.. और एक दिन पापा ने भी कविश को यह लक्ष्य दिया कि वह सिविल जज की परीक्षा की भी तैयारी करें। <br>मानो यह टेलीपैथी हो गई पापा का सपना और बेटे का संकल्प दोनों एक हो गए...!<br>अपनी सामान्य पढ़ाई के साथ कविश ने सिविल जज परीक्षा की तैयारी शुरू कर दी। परिवार को और मित्र परिवार को भी कविश के परिणाम का काफी उत्सुकता से इंतजार था और जब 12 नवंबर की शाम यह खुशखबर मिली कि कविश सिलेक्ट हो गया है और वह सिविल जज बनेगा तो यकीन मानिए हमारी खुशी का कोई ठिकाना नहीं रहा क्योंकि हमने एक सपने को बचपन से युवा होता देखा और अब साकार भी होता देख रहे हैं.. योगेश जी और कविश को बहुत बधाई। आदरणीया भाभीजी को भी बधाई जिनके सहयोग ओर बेटे के प्रति आशीर्वाद के भाव के बिना ये संभव नहीं होता।</p>
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