मंदसौर। वन्यजीवों के प्रति अपनी समर्पण भावना के लिए पहचाने जाने वाले सर्पमित्र कमल दास बैरागी ने मंदसौर के चंद्रपुरा क्षेत्र में एक अद्भुत कार्य को अंजाम दिया है। उन्होंने एक दुर्लभ और कांटेदार जीव 'साही' (Porcupine) का सुरक्षित रेस्क्यू किया, जिसे बाद में जंगल में छोड़ दिया गया।
साही एक कृन्तक (Rodent) प्रजाति का प्राणी है, जो अपने शरीर पर उगे नुकीले और कांटेदार पंखों के लिए जाना जाता है। खतरा महसूस होने पर यह अपने कांटों का इस्तेमाल अपनी आत्मरक्षा के लिए करता है। ये कांटे बेहद नुकीले होते हैं, जो इसे अन्य जानवरों और इंसानों से बचाने में मदद करते हैं।
कमल दास बैरागी को जैसे ही चंद्रपुरा में इस विचित्र जीव के पाए जाने की सूचना मिली, वह तुरंत मौके पर पहुंचे। उन्होंने अत्यधिक सावधानी बरतते हुए साही को सुरक्षित रूप से पकड़ा। इस जानवर को आमतौर पर दक्षिण भारत के क्षेत्रों में अधिक पाया जाता है, हालांकि भारतीय सेही (Indian Porcupine) का फैलाव मध्य भारत सहित एशिया के कई हिस्सों में है।
कमल दास बैरागी ने इस साही को सुरक्षित रेस्क्यू करने के बाद उसे वन क्षेत्र में वापस छोड़ दिया। वन्यजीवों को सुरक्षित उनके प्राकृतिक आवास तक पहुंचाने के इस कार्य के लिए स्थानीय लोगों ने सर्पमित्र कमल दास बैरागी की जमकर सराहना की है, जो जंगल और जीव-जन्तुओं के प्रति उनके गहरे लगाव और समर्पण को दर्शाता है।